Saturday, April 20, 2024
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सिंचाई विभाग के इंजीनियर के 20 ठिकानों पर इनकम टैक्स ने की छापेमारी…

SI News Today

लखनऊ: सिंचाई विभाग में सुप्रिडेंडेट इंजीनियर राजेश्वर सिंह यादव के 20 ठिकानों पर इनकम टैक्स की टीम ने छापेमारी की है। दिल्ली, नोएडा, फरीदाबाद और गाजियाबाद, एटा के ठिकानों पर इनकम टैक्स ने छापेमारी की है। राजेश्वर सिंह पर इनकम टैक्स विभाग को ये शक है की यादव सिंह और यूपी के दो बड़े राजनेताओं को पैसे को मैनेज किया था।

8 महीने पहले नोएडा में हुई थी तैनाती
-8 महीने पहले राजेश्वर सिंह को नोएडा में पोस्टिंग मिली थी। राजेश्वर सिंह के सपा नेताओं से अच्छे संबंध बताए जाते हैं। फिलहाल, इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने छापेमारी की वजह साफ नहीं की है। अफसरों का कहना है कि आय से अधिक संपति की सूचना मिलने के बाद ये कार्रवाई की गई है।

-बता दें कि एटा के मारहैरा इलाके के मैनी गांव में इंजीनियर का घर है। जानकारी के मुताबिक, राजेश्वर सिंह अपनी संपत्ति का ब्योरा नहीं दे पाए। करोड़ों की कीमत में चांदी, गोल्ड ज्वैलरी, कई रिश्तेदारों के नाम से बैंक अकाउंट्स ओपन कराए हैं। फिलहाल यहां पर छापेमारी जारी है।

-एटा के साथ-साथ आगरा में भी राजेश्वर सिंह के कई ठिकानों पर छापेमारी चल रही है। 16 लोगों की टीम आगरा के लॉयर्स कॉलोनी स्थित शिवालिक रेजीडेंसी में उनके ससुर रणबीर सिंह के फ्लैट में इनकम टैक्स टीम ने छापा मारा है। रणबीर सिंह को इनकम टैक्स विभाग के अधिकारी बैंक भी लेकर गए हैं। राजेश्वर सिंह के ससुर रणबीर पहले पुलिस विभाग में थे।

-स्थानीय पुलिस को बिना सूचना दिए पीएससी के दरोगा और कांस्टेबल को अपने साथ लेकर इनकम टैक्स की टीम यहां पहुंची हैं। सूत्रों ने बताया है- “नोटबंदी के दौरान कई पार्टी के दिग्गजों का पैसा ठिकाने लगाने में राजेश्वर सिंह यादव की अहम भूमिका रही है।

– नोएडा सेक्टर 61,44 और 52 में स्थिति ठिकानों में छापेमारी चल रही है। बताया जा रहा है की यूपी के कई बड़े नेताओं के साथ उनका संपर्क है। नोएडा के कई ठिकानों में अभी कार्रवाई जारी है।

यादव सिंह के खिलाफ भी चल रही है जांच
-नोएडा और ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी के ठेकों में भ्रष्टाचार के साथ-साथ यादव सिंह पर कई सौ करोड़ रुपए की अवैध नामी-बेनामी संपत्ति बनाने का आरोप है।

-दरअसल, सीबीआई ने अपने आरोप पत्र में यादव सिंह पर तीन कंपनियों तिरुपति कंस्ट्रक्शन, एनकेजी कंस्ट्रक्शन, जेएसपी प्रोजेक्टस को 19.42 करोड़ रुपए का अनुचित लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया था।

-प्रवर्तन निदेशालय ने अपनी जांच में सीबीआई के आरोपों को सही पाया और तीनों कंपनियों की 19.42 करोड़ रुपए की संपत्ति जब्त कर ली। उनमें एनकेजी इंफ्रास्ट्रक्चर के 4.52 करोड़, तिरुपति कंस्ट्रक्शन के 5.11 करोड़ और जेएसपी प्रोजेक्ट्स के 9.79 करोड़ रुपए शामिल हैं।

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