Friday, March 29, 2024
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यूपी: माघ मेले की व्यवस्थाओं पर योगी सरकार खर्च करेगी 51 करोड़….

SI News Today

इलाहाबाद: त्रिवेणी के तट पर जनवरी 2018 में लगने जा रहे माघ मेले की व्यवस्थाओं पर करीब 51 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। पूर्व में भेजे प्रस्तावों पर 23 करोड़ रुपये शासन ने जारी कर दिया है। चार दिन पहले जिलाधिकारी सुहास एलवाई ने 18 करोड़ रुपये का संशोधित प्रस्ताव शासन को भेजा। ये रकम 51 करोड़ में शामिल है। पिछले वर्ष की तुलना में इस बार करीब सवा गुना ज्यादा खर्च होंगे।

माघ मेले की बसावट करीब 1800 बीघे में होनी है। तैयारियों की मुख्य जिम्मेदारी लोक निर्माण विभाग, जलनिगम, स्वास्थ्य विभाग, विद्युत विभाग और सिंचाई विभाग पर है। लोक निर्माण विभाग ओल्ड जीटी रोड, शिवाला-गंगोली मार्ग, त्रिवेणी मार्ग, काली मार्ग और महावीर मार्ग पर पांटून पुल बनाने का कार्य कर रहा है। साथ ही करीब 65 किमी. चकर्ड प्लेटें बिछाई जानी हैं। जल निगम द्वारा लगभग 170 किमी. पानी की पाइप लाइन बिछाने और 20 किमी. तक ड्रेनेज का कार्य कराया जा रहा है।

जलापूर्ति के लिए 18 बोरिंग और जलनिकासी के लिए लगभग 70 पंपों की टेस्टिंग का कार्य भी प्रगति पर है। स्वास्थ्य विभाग को त्रिवेणी मार्ग और झूंसी की तरफ अस्पताल बनवाना है। इसके अलावा शौचालय बनवाने और सफाई व्यवस्था की भी जिम्मेदारी है। विद्युत विभाग द्वारा नौ हजार बिजली के पोल, 10 हजार स्ट्रीट लाइटें और 23 अस्थायी सबस्टेशन बनाए जाने हैं।

सिंचाई विभाग को किला, वीआइपी और अरैल घाटों पर जेटी (नाव से आने-जाने वालों के लिए लकड़ी का सुविधाजनक घाट) बनाना है। कटान रोकने की भी जिम्मेदारी इसी विभाग पर है। इन कार्यों में करीब डेढ़-दो करोड़ रुपये खर्च होने की उम्मीद है। सुरक्षा व्यवस्था पर भी करोड़ों की रकम खर्च होगी। जानकारों के अनुसार विगत वर्ष मेले में करीब 40 करोड़ रुपये खर्च हुए थे।

इस बार मेले में कई नई व्यवस्थाएं की जानी हैं। इसमें खर्च बढऩे की उम्मीद है। मेले को खुले में शौच से मुक्त बनाने की भी तैयारी है।

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