Aircel का नेटवर्क अचानक गायब हो गया है। इंडिया में एयरसेल का कोई भी नंबर काम नहीं कर रहा है। कंपनी के देश में जितने भी यूजर्स हैं उनका कॉल नहीं लग रहा है। एक तरह से एयरसेल का ब्लैकआउट हो गया है। दूरसंचार कंपनी एयरसेल खराब दौर से गुजर रही है, बावजूद इसके कंपनी इसे सार्वजनिक रूप से स्वीकार नहीं कर रही है, कंपनी के यूजर कॉल ड्रॉप और नो सिगनल जैसी समस्या से गुजर रहे हैं। वहीं एयरसेल के यूजर्स अब अपना नंबर किसी दूसरी कंपनी में पोर्ट करा रहे हैं। एक कंपनी के अधिकारी ने स्पष्ट किया कि कंपनी कुछ दिकक्तों का सामना कर रही है और वे इसे सुलझाने की कोशिश कर रहे हैं। वहीं एक रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी के सीईओ कैजाद हेर्जी ने 5000 से ज्यादा कर्मचारियों को हाल ही में एक मेल लिखा था। इसमें कहा था कि आने वाले समय में हालात और खराब होने की संभावना है।
एयरसेल पिछले छह महीने में कोई भी फंडिंग जुटाने में विफल रही है और अपने कारोबार को संचालित कर रही है, लेकिन यह प्रयास रिलायंस जियो की प्रतियोगिता के खिलाफ बनाए रखने में मदद नहीं कर सकता है। हमारे पास कुछ समय के लिए कोई फंडिंग नहीं थी और हमारे वर्तमान बिजनेस से आने वाले पैसे पर हम पूरी तरह से निर्भर थे। रिपोर्ट के मुताबिक सीईओ ने कहा कि, चूंकि बाजार में बहुत ज्यादा कम्पटीशन है। हम भी इससे प्रभावित हो रहे हैं। कंपनी को उम्मीद है कि आने वाले दिनों में चीजें और भी मुश्किल हों।
रिपोर्ट में कहा गया है कि एयरसेल बोर्ड जल्द ही “कंपनी के लिए विकल्पों की समीक्षा और मूल्यांकन करने के लिए” फिर से तैयार हो जाएगा। इस बीच, कर्ज के तले दबी हुई कंपनी एयरसेल, नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) में दिवालिएपन के लिए फाइल कर सकती है। मलेशिया की मूल कंपनी मैक्सिस को आनंद कृष्णन द्वारा चलाया जाता है। उन्होंने पहले एयरसेल का समर्थन करने के लिए नकदी की पेशकश की थी, लेकिन बाद में इस फैसले को वापस ले लिया। कंपनी ने सितंबर 2017 के बाद से उधारदाताओं के साथ बातचीत करने की कोशिश की, लेकिन 15,500 करोड़ रुपए के कर्ज के पुनर्भुगतान को खत्म करने में विफल रही।