सेंटर फॉर डिवेलपमेंट ऑफ टेलिमैटिक्स (C-DoT) ने सस्ती वाई-फाई सुविधा देने के लिए एक टेक सलूशन बनाया है। इस सिस्टम के तहत वाई-फाई देने के लिए मास मार्केट ‘पब्लिक डेटा ऑफिस’ (PDO) डिवाइस की मदद ली जाएगी। इस सर्विस की खास बात ये होगी की इसे लाइलेंस फ्री (इंडस्ट्रीयल, साइनटिफिक) बैंड पर मुहैया कराया जाएगा। इस डिवाइस के जरिए कोई भी किराना शॉप और ठेले वाला वाई फाई सर्विस दे सकता है। C-DoT एक सरकारी स्वामित्व वाला दूरसंचार अनुसंधान एवं विकास केंद्र है।
कितनी होगी कीमत?: PDO डिवाइस की कीमत 50000 रुपये तक होगी। इसे खरीदकर अपने स्टोर में या ठेले पर रखने वाले वेंडर आस-पास के लोगों को बेहद सस्ती कीमत में वाई-फाई डेटा बेंच सकेंगे। इससे कभी-कभी इंटरनेट इस्तेमाल करने वालों के लिए काफी आसानी होगी। जो लोग रेग्युलर डेटा पैक इस्तेमाल नहीं करना चाहते उनके लिए ये प्लान खासा उपयोगी साबित हो सकता है। वाई फाई के लिए सबसे सस्ते डेटा वाउचर की कीमत 10 रुपये तक हो सकती है।
कैसे मिलेगी सर्विस: C-DoT के टेक सलूशन में हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर एलिमेंट्स हैं। यह सर्विस लाइसेंस फ्री इंडस्ट्रियल साइंटिफिक एंड मेडिकल बैंड के तहत मुहैया कराई जाएगी। वाई-फाई देने के लिए ई-केवाईसी, वन टाइम पासवर्ड ऑथेंटिकेशन और वाउचर मैनेजमेंट मकैनिजम की मदद ली जाएगी। इस डिवाइस में बिलिंग सिस्टम भी दिया गया है।
PDO टेक्नॉलजी को C-DoT अपनी 20 मैन्युफैक्चरिंग पार्टनर कंपनियों को ट्रांसफर करने जा रही है। इनमें हिमाचल फ्यूचरिस्टिक कम्यूनिकेशंस लिमिटेड (HFCL), BHEL और ITI Ltd शामिल हैं। ये कंपनियां इन डिवाइसों का कॉमर्शियल उत्पादन करेंगी। C-DoT के मुताबिक सेमी अर्बन या रूरल एरिया में छोटे दुकानदार भी 2.24GHz और 5.8GHz फ्री टू यूज फ्रिक्वेंसी का इस्तेमाल करके डेटा प्रोवाइड करा सकते हैं। इसके लिए उन्हें रेग्यूलेशन के प्रोसेस से नहीं गुजरना होगा। ये फ्रिक्वेंसीज कम्यूनिकेशन के लिए इस्तेमाल होने वालीं अन्य फ्रिक्वेंसीज में किसी तरह का दखल नहीं देतीं।
गौरतलब है कि पिछले महीने TRAI ने टेलिकॉम डिपार्टमेंट से कहा था कि इंटरनेट सर्विस प्रोवाइडर (ISP) परमिट के रूल्स में बदलाव लाए। ट्राई ने कहा था कि कुछ नए स्पेक्ट्रम बैंड्स को फ्री किया जाए ताकि वाई-फाई ऐक्सेस डिवाइसेज के जरिए सार्वजनिक स्थलों पर सस्ती वाई-फाई सर्विसेज दी जा सकें।